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लोगों को बताया अमीर होने का राज़ जिसे आप सुन हो जायेंगे हैरान

 फरीदाबाद : स्वावलंबी भारत अभियान के अंतर्गत राजकीय आदर्श संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सेक्टर 55 के प्रांगण में प्रधानाचार्य सतेन्द्र सौरोत की अध्यक्षता में युवा कौशल दिवस का आयोजन किया गया। जिसके अंतर्गत प्रथम पीढ़ी के 5 उद्यमियों को सम्मानित किया गया तथा इस कार्यक्रम में स्वाबलंबी भारत अभियान की केंद्रीय टोली के सदस्य चार्टेड अकाउंटेंट प्रदीप बंसल मुख्य वक्ता के रूप में उपस्थित रहे।

  कार्यक्रम के संयोजक देशराज सिंह ने बताया कि युवाओं की सोच को स्वरोज़गार एवं उद्यमिता की दिशा दिखाना अभियान का प्रमुख उद्देश्य है।

कार्यक्रम में वक्ता के रूप में उपस्थित हुए व अभियान की केंद्रीय टोली के सदस्य प्रदीप बंसल ने कहा कि इस विचार को विद्यार्थीयों के मन-मस्तिष्क में स्थाई रूप से स्थापित करने एवं समाज में उद्यमिता के प्रति सम्मानजनक वातावरण निर्माण करने हेतु उद्यमिता प्रोत्साहन सम्मेलन की योजना बनाई गई है। कार्यक्रम का उद्देश्य, जिले के सफल उधमियों का सम्मान, उनके द्वारा युवाओं  को प्रोत्साहन, सहयोग एवं उद्यमिता का प्रचार - प्रसार है।

प्रधानाचार्य सतेन्द्र सौरोत ने विद्यालय की ओर से 

 पांचों उद्यमियों ,- सर्वश्री तेजपाल सिंह, पूरन सिंह बघेल, सरदार गुरदीप सिंह, रजवंत सिंह बग्गा, जी पी बिष्ट के अतिरिक्त प्रदीप बंसल, गुरमीत सिंह, ओमबीर सिंह को अंगवस्त्र, प्रशस्ति पत्र व स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। इन उद्यमियों ने सभी के समक्ष अपनी सफलता की कहानी {success story} साझा की। 

 जय हिन्द ऑटो टेक के निदेशक व उद्यमी पूरन सिंह बघेल ने अपने संघर्ष की कहानी सुनाते हुए बताया कि अपने गांव से वह फरीदाबाद में आकर किराए के मकान में रहते थे। छोटी-मोटी नौकरी की पश्चात किसी से एक हजार रुपए उधार लेकर अपना व्यवसाय प्रारंभ किया। प्रारंभ में अनेकों कठिनाइयां आई। परंतु सभी का सामना बहुत हिम्मत और मेहनत के साथ किया। परिणाम स्वरूप, आज वह फरीदाबाद, पुणे व सीडकुल में अपनी कंपनियां चला रहे हैं। आज के समय उनका लगभग 100 करोड रुपए का टर्नओवर है।

कृपा हैंडलिंग प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के निदेशक तेजपाल सिंह ने भी अपनी पढ़ाई से लेकर अनेकों प्रकार के व्यवसाय में हाथ आजमाने, असफल होने तथा फिर आगे बढ़कर कार्य करने पर सफल होने की कहानी सुनाई।

सतनाम इंजीनियरिंग के निदेशक सरदार गुरदीप सिंह ने बताया कि उन्होंने नौकरी करते करते यह तय किया कि अब वे नौकरी मांगने वाले नहीं नौकरी देने वाले बनेंगे और अंततोगत्वा एक सफल उद्यमी के रूप में स्थापित हुए। इसी प्रकार जगवंत सिंह बग्गा व जीपी बिष्ट ने भी अपनी सफलता की कहानी सुनाई।

 सौरोत ने सभी विद्यार्थियों को सफल उद्यमी बनने के 5 विशेष सूत्र अपनाने का आग्रह किया। जिनमें - 1.पढ़ाई के साथ कमाई करना व कमाई का प्रारंभ जल्दी से जल्दी करना, 2. नौकरी मांगने वाला नहीं नौकरी देने वाला बनना, 3. बड़ा सोचें, नया सोचें व लीक से हटकर सोचें। 4. सफल उद्यमी बनने के पांच गुण विकसित करना - जिनमें दृढ़ संकल्प, परिश्रमी, जोखिम लेने वाला, विश्वस्त, नई तकनीक अपनाने वाला बनें। 5. राष्ट्र प्रथम व स्वदेशी आवश्यक का सिद्धांत अपनाएं।

कार्यक्रम में सरदार गुरमीत सिंह देओल, ओमबीर सिंह व सीमा शर्मा के अतिरिक्त विद्यालय के सभी अध्यापक तथा नवीं से बारहवीं के लगभग 500 छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे। मंच संचालन डॉ विजेन्द्र सिंह व रेणु कुमारी ने किया।


                                              

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